झुंझुनूं में 325 मेधावी स्टूडेंट्स सम्मानित:विप्र फाउंडेशन का प्रतिभा सम्मान समारोह, शिक्षित पीढ़ी को बताया समाज की असली ताकत

झुंझुनूं में 325 मेधावी स्टूडेंट्स सम्मानित:विप्र फाउंडेशन का प्रतिभा सम्मान समारोह, शिक्षित पीढ़ी को बताया समाज की असली ताकत
झुंझुनूं में रविवार को ब्राह्मण समाज की शैक्षणिक प्रतिभाओं को मंच सम्मानित किया गया। विप्र फाउंडेशन के तत्वावधान में मोदी रोड स्थित गाड़िया टाउन हॉल परिसर में जिला स्तरीय ब्राह्मण प्रतिभा सम्मान समारोह 2024-25 का आयोजन किया गया। समारोह में जिलेभर से चयनित 325 मेधावी छात्र-छात्राओं को सम्मानित किया गया। इनमें 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं में 90 प्रतिशत या उससे अधिक अंक प्राप्त कर समाज और अपने परिवार का नाम रोशन करने वाले स्टूडेंट्स शामिल थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता विप्र फाउंडेशन के जिलाध्यक्ष कमल कांत शर्मा ने की। जबकि राष्ट्रीय अध्यक्ष राधेश्याम शर्मा, प्रदेश संगठन महामंत्री सतीश शर्मा और पूर्व राजनयिक दिल्ली राजीव शर्मा बतौर मुख्य अतिथि मंचासीन रहे। इनके अलावा समारोह में जिलेभर से ब्राह्मण समाज के वरिष्ठजन, अभिभावकों और विद्यार्थियों की बड़ी भागीदारी देखने को मिली। स्टूडेंट्स के परिजनों को भी किया सम्मानित कार्यक्रम की शुरुआत वैदिक मंगलाचरण और दीप प्रज्वलन के साथ हुई। मंच से अतिथियों ने विप्र समाज की एकता, शिक्षा में अग्रणी भूमिका और युवा पीढ़ी के उज्ज्वल भविष्य पर अपने विचार रखे। समारोह में केवल प्रमाण-पत्र या प्रतीक चिह्न देकर ही नहीं, बल्कि प्रत्येक प्रतिभागी विद्यार्थी के अभिभावकों को भी मंच पर बुलाकर उनका सम्मान किया गया, जिससे यह आयोजन केवल छात्रों का नहीं बल्कि पूरे परिवार की मेहनत का उत्सव बन गया। कार्यक्रम संयोजक उमाशंकर महमिया ने बताया- यह समारोह केवल सम्मान का कार्यक्रम नहीं, बल्कि समाज में शिक्षा के प्रति जागरूकता और प्रतिस्पर्धा को सकारात्मक दिशा देने का प्रयास है। उन्होंने कहा कि हर वर्ष ऐसे विद्यार्थियों को चिह्नित कर मंच पर सम्मानित किया जाता है, जिससे अन्य बच्चे भी प्रेरणा लें और शिक्षा को जीवन की प्राथमिकता बनाएं। समाज की असली ताकत उसकी शिक्षित पीढ़ी समारोह में मुख्य वक्ता के रूप में राधेश्याम शर्मा ने कहा- समाज की असली ताकत उसकी शिक्षित पीढ़ी होती है। जब विप्र समाज का युवा शिक्षा, सेवा और संस्कार की त्रिवेणी में स्नान करता है, तब वह न केवल अपने परिवार का बल्कि पूरे राष्ट्र का भविष्य बनता है। उन्होंने कहा कि ऐसे आयोजनों से विद्यार्थियों को आत्मविश्वास मिलता है और अभिभावकों को भी अपनी भूमिका पर गर्व होता है। प्रतिस्पर्धा की दौड़ में संतुलन बनाने की सीख दी प्रदेश महामंत्री सतीश शर्मा ने विद्यार्थियों को प्रतिस्पर्धा की दौड़ में संतुलन बनाए रखने की सीख दी। उन्होंने कहा कि केवल अंक ही नहीं, बल्कि जीवन मूल्यों, व्यवहार और समाज सेवा के भाव भी उतने ही जरूरी हैं। वहीं, पूर्व राजनयिक राजीव शर्मा ने अपने जीवन के अनुभव साझा करते हुए विद्यार्थियों को वैश्विक सोच विकसित करने का संदेश दिया और कहा कि आज की शिक्षा केवल नौकरी पाने के लिए नहीं, बल्कि नेतृत्व गढ़ने के लिए होनी चाहिए। झुंझुनूं के मंड्रेला, नरहड़, सूरजगढ़, बिसाऊ, चिड़ावा, खेतड़ी, नवलगढ़ और आसपास के कस्बों से पहुंचे विद्यार्थियों ने कहा कि यह सम्मान उन्हें आगे की पढ़ाई में बेहतर प्रदर्शन के लिए प्रेरित करेगा। समारोह का समापन राष्ट्रगान और सामूहिक फोटो सेशन के साथ हुआ।