रोडवेज का यात्री भार बढ़ा:बाड़मेर शहर के पास टूरिज्म स्पॉट नहीं, इसलिए डेढ़ साल में 47711 लोगों ने जोधपुर-जयपुर व उदयपुर की यात्रा की

बाड़मेर गर्मी की छुट्टियां शुरू होते ही बाड़मेर के लोग ठंडी जगह की तलाश में निकल पड़ते हैं। इस साल भी उदयपुर, माउंट आबू और जयपुर जैसे पर्यटन स्थलों की ओर पर्यटकों का रुझान साफ देखा जा रहा है। रोडवेज से पिछले साल की तुलना में इस साल मई 2025 में यात्रियों की संख्या में इजाफा हुआ है। पिछले साल बाड़मेर से वाया जोधपुर होते हुए जयपुर मार्ग पर 1 लाख 62 हजार 711 वहीं इस साल इसी मार्ग पर 2 लाख 10 हजार 701 पैसेंजर ने मई में सफर किया। यानी बीते साल के मुकाबले इस साल 47 हजार 711 की बढ़ोत्तरी हुई है। वहीं उदयपुर से वाया डूंगरपुर मार्ग पर बीते साल के मुकाबले में सीधे 3 हजार 141 पैसेंजर की बढ़ोतरी हुई है। स्थानीय लोगों की माने तो बाड़मेर में तापमान 46 डिग्री सेल्सियस से ऊपर चला जाता है। यहीं कारण है कि जैसे ही स्कूलों और कॉलेजों में छुट्टियां होती हैं, लोग परिवार के साथ उदयपुर की झीलें, माउंट आबू की हरियाली और जयपुर के ऐतिहासिक किलों और महलों को देखने जाते हैं। इन शहरों में न केवल मौसम सुहावना है, बल्कि पर्यटकों के लिए ठहरने और घूमने के लिए भी कई विकल्प मौजूद हैं। बाड़मेर से इन पर्यटन स्थलों तक सीधी कनेक्टिविटी और बेहतर परिवहन सुविधा भी इस बढ़ोतरी का एक प्रमुख कारण है। जोधपुर-जयपुर मार्ग पर ट्रेनों और बसों की उपलब्धता ने यात्रा को और आसान बना दिया है, जिससे लोग बिना किसी परेशानी के अपने पसंदीदा जगहों तक पहुंच रहे हैं। स्थानीय प्रशासन और पर्यटन विभाग अगर शहर व आसपास के क्षेत्र में पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए अगर पर्यटन स्थल डवलप करे तो स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी बढ़ावा मिलेगा। वर्तमान में तो बाड़मेर के लोग अपनी गर्मी की छुट्टियां बिताने के लिए उदयपुर, माउंट आबू और जयपुर जैसे लोकप्रिय पर्यटन स्थलों पर ही भरोसा कर रहे हैं।