कर्मचारियों को ट्रांसफर की धमकी दे मांगता था रिश्वत

मनपसंद जगह ट्रांसफर करवाने के नाम पर अपने ही विभाग के कर्मचारी से 25 हजार की रिश्वत लेते पशुपालन विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ. दीपक अग्रवाल को एसीबी ने शनिवार को ट्रैप किया। एसीबी स्पेशल यूनिट द्वितीय जयपुर की टीम ने यह कार्रवाई एसके अस्पताल के पास अपार्टमेंट की पार्किंग में की। यहीं डॉ. दीपक का फ्लैट है आैर वो पार्किंग में रिश्वत की राशि ले रहा था। टीम आरोपी को जयपुर ले गई। उसे रविवार को मजिस्ट्रेट के सामने पेश किया जाएगा। परिवादी ने शिकायत दर्ज कराई थी कि डॉ. दीपक उससे ट्रांसफर के नाम पर 50 हजार रुपए की रिश्वत मांग रहा है। बाद में 25 हजार रुपए में सौदा तय हुआ। इस पर एसीबी ने शिकायत का सत्यापन कर ट्रैप की कार्रवाई की। डॉ. दीपक एक साल पहले धोद ब्लॉक अॉफिसर के पद पर था। इसके बाद उसने जून 2024 में पद विरुद्ध संयुक्त निदेशक के पद पर ड्यूटी जॉइन की। उस समय जिले में 22 सीनियर अधिकारी इस पद के दावेदार थे। डॉ. दीपक रिश्वत का दबाव बनाने के लिए कर्मचारियों को ड्यूटी पर होने के बावजूद अनुपस्थित दिखाकर कारण बताओ नोटिस व चार्जशीट दे देता था। कर्मचारियों की तनख्वाह रोक लेता था। इसके बाद तनख्वाह बनाने के नाम पर रुपए की डिमांड करता। कोई कर्मचारी रुपए देने से मना करता तो उसका ट्रांसफर दूसरी जगह करने की धमकी देता था। जानकारी में आया है कि डॉ. दीपक विभाग के कई कर्मचारियों से बंधी ले चुका था। सीकर में कार्यरत करीब 25 कर्मचारियों का सीमावर्ती इलाकों में ट्रांसफर करवा चुका था। विभाग की महिला कर्मचारियों ने पहले भी डॉ. दीपक के खिलाफ कैबिनेट मंत्री व मुख्य सचिव को शिकायत सौंपी थी। उनका आरोप था कि दीपक उनके साथ अभद्र आचरण करता है। उसके खिलाफ बेहूदी बातें करके गरिमा को ठेस पहुंचाने, अनचाही मजाक करने और प्रताड़ित करने जैसी शिकायतें शामिल थी। दीपक पर कार्रवाई के लिए पशु चिकित्सा कर्मचारी महासंघ की ओर से जयपुर में शहीद स्मारक पर धरना दिया गया था।