एमडी ड्रग्स रैकेट:7 आरोपी दोषी करार, सजा पर निर्णय 26 को, सात साल से लेकर आजीवन कारावास होगा

एमडी ड्रग्स रैकेट:7 आरोपी दोषी करार, सजा पर निर्णय 26 को, सात साल से लेकर आजीवन कारावास होगा
शहर के कलड़वास में 9 साल पहले पकड़े गए 3 हजार करोड़ के चर्चित ड्रग रैकेट के 8 में से 7 आरोपियों को दोषी करार दिया गया है। मुख्य अभियुक्त सुभाष दूदानी की तीन साल पहले मौत हो चुकी है। दोषियों की सजा पर 26 मई को फैसला होगा। हालांकि, जिन धाराओं के तहत इन्हें दोषी पाया गया है, उनमें कम से कम 7 और अधिकतम आजीवन कारावास की सजा मिलना तय है। इसके अलावा जुर्माना भी लगेगा। मामले में रवि दूदानी, परमेश्वर व्यास, अनिल मलकानी, संजय आर पटेल, अतुल महात्रे, निर्मल दूदानी और गुंजन दूदानी को दोषी करार दिया। इनमें से रवि दूदानी और परमेश्वर व्यास 9 साल यानी 2016 से सेंट्रल जेल में बंद हैं। बाकी पांच आरोपी जमानत पर बाहर थे। शुक्रवार को एनडीपीएस मामलों की विशेष अदालत एडीजे-1 (एनडीपीएस ॑कोर्ट) के पीठासीन अधिकारी न्यायाधीश मनीष वैष्णव की ओर से सभी दोषी करार दिए गए। इसके बाद सातों को हिरासत में लेकर सेंट्रल जेल भेज दिया गया। अब कोर्ट 26 मई को सुबह 9 बजे इनकी सजा पर फैसला सुनाएगी। आरोपी रवि दूदानी और रमेश्वर व्यास के खिलाफ ईडी की ओर से पिछले साल मनी लॉन्ड्रिंग का केस अलग से दर्ज किया गया था। इस मामले में अलग से कानूनी कार्रवाई जारी है। मामले के अनुसार आरोपी यह पूरा रैकेट मुंबई से चला रहे थे। उदयपुर के कलड़वास में स्थित एक फैक्ट्री को एमडी ड्रग्स का गोदाम बनाया हुआ था, जबकि राजसमंद के धोइंदा में इसे बनाया जा रहा था। गिरोह इस ड्रग्स की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर साउथ अफ्रीका तक सप्लाई करता था। डायरेक्टरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलीजेंस (डीआरआई) की टीम ने मुंबई में मिले इनपुट के आधार पर 28 अक्टूबर 2016 में कलड़वास स्थित फैक्ट्री पर छापा मारा था। यहां से 23 हजार 500 किलो एमडी ड्रग्स बरामद की गई थी। उस समय इसकी कीमत 3000 करोड़ रुपए से ज्यादा आंकी गई थी। इसके बाद टीम ने गुडली और राजसमंद के धोइंदा में भी छापेमारी की थी। इससे पहले एमडी ड्रग्स की इतनी बड़ी खेप कभी नहीं पकड़ी गई थी। टीम ने मुख्य आरोपी सुभाष दूदानी, उसके भतीजे रवि दूदानी, परमेश्वर व्यास, अनिल मलकानी, संजय आर पटेल, अतुल महात्रे, निर्मल दूदानी और गुंजन दूदानी को गिरफ्तार किया था। एक हजार दस्तावेज और 50 गवाह पेश किए मामले में केंद्र सरकार की ओर से राजस्थान हाईकोर्ट जोधपुर के अतिरिक्त महाधिवक्ता प्रवीण खंडेलवाल, विशिष्ट लोक अभियोजक राजेश वसीटा और विशिष्ट लोक अभियोजक एसपी शर्मा पैरवी कर रहे हैं। तीनों अधिवक्ताओं ने कोर्ट में करीब एक हजार दस्तावेज प्रदर्शित किए। इसके साथ ही 1600 कंट्रोल सैंपल पर आर्टिकल एवं 300 इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों पर आर्टिकल डलवाकर 50 गवाह पेश किए। इसके बाद आरोपियों के खिलाफ दोष सिद्ध हो पाया। साउथ अफ्रीका तक करते थे सप्लाई