सिस्टम ही हत्यारा:मौत को दबाने में लगा अस्पताल प्रशासन, फाइल ही गायब, किसी को कुछ भी नहीं पता, 35 घंटे बाद जांच कमेटी बनाई

सिस्टम ही हत्यारा:मौत को दबाने में लगा अस्पताल प्रशासन, फाइल ही गायब, किसी को कुछ भी नहीं पता, 35 घंटे बाद जांच कमेटी बनाई
एसएमएस अस्पताल में फिर एक मरीज की गलत ब्लड चढ़ाने से मौत हो गई। सवा साल में ऐसा तीसरी बार हुआ है। हर बार की तरह अस्पताल प्रशासन मौत को दबाने में लगा हुआ है। भास्कर जब इसके जिम्मेदारों को ढूंढने पहुंचा तो 11 दिन तक अस्पताल में भर्ती रही महिला की फाइल ही नहीं मिली। वहीं, 35 घंटे बाद भी अस्पताल प्रशासन यह तय नहीं कर पाया कि किसकी क्या गलती है और कौन जिम्मेदार है। अस्पताल में हर कोई यही कहता रहा कि महिला सीरियस थी और उसे वेंटिलेटर पर लिया जा चुका था। मामले ने जब तूल पकड़ा तो अधीक्षक डॉ. सुशील भाटी ने कहा कि कमेटी बना दी है, मामले की जांच करेगी। बड़ा सवाल- क्या बिना देखें चढ़ा रहे ब्लड; रेजिडेंट और नर्स को वार्ड में क्रॉस चेक करने के बाद ही ब्लड चढ़ाना होता है। उन्हें देखना होता है कि कौनसा ब्लड मंगाया और कौनसा आया, लेकिन गड़बड़ होने पर जिम्मेदारी से बचते हैं। वैसे तो पिछले सवा साल में गलत ब्लड चढ़ाने के तीन मामले ही सामने आए हैं, लेकिन हकीकत में हर माह एक-दो केस में ऐसा होता है। ब्लड बैंक में 70% स्टाफ ठेके पर ब्लड बैंक का 70% स्टाफ ठेके का है। किसी की जिम्मेदारी तय नहीं है। पर्ची आने पर कंप्यूटर में एंट्री पर ब्लड दे दिया जाता है। ब्लड ले जाने वाले वार्ड बॉय भी ठेके के हैं। गलती की सजा- दूसरी जगह लगा देते हैं। मानवाधिकार आयोग; प्रसूता की मौत पर मांगा जवाब राज्य मानवाधिकार आयोग ने एसएमएस अस्पताल में प्रसूता को गलत ग्रुप का ब्लड चढ़ाने से हुई हुई मौत के मामले में प्रसंज्ञान लिया है। साथ ही एसएमएस अस्पताल के अधीक्षक व प्राचार्य को नोटिस जारी कर निर्देश दिया है कि वे इसकी तथ्यात्मक रिपोर्ट पेश करें। वहीं मामला सही पाए जाने पर संबंधित चिकित्सक व नर्स के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई कर इसकी रिपोर्ट भी पेश करें। आयोग के अध्यक्ष जस्टिस जीआर मूलचंदानी ने यह निर्देश इस संबंध में मीडिया में आई खबरों पर लिए प्रसंज्ञान मामले में दिया। आयोग ने मामले की सुनवाई 12 जून को तय की है। एक ही जवाब, महिला गंभीर थी मीडिया में मामला आने के बाद प्रशासन शुक्रवार देर रात तक यह पता नहीं कर सका कि किस स्टाफ की डयूटी थी और किसने ब्लड सप्लाई किया और किसने चढ़ाया। इनके नाम भी छिपाये जा रहे हैं। सब ये ही कहते रहे महिला गंभीर थी। गलत खून चढ़ा 23 साल के सचिन की भी ले चुके हैं जान, मुस्तफा को भी चढ़ाया था ये हैं सीधे जिम्मेदार