फर्जी पट्टे का मामला:1 माह में शुरू होगी गहलोत राज के 13 लाख पट्टों की जांच, 50 प्रतिशत पद खाली

फर्जी पट्टे का मामला:1 माह में शुरू होगी गहलोत राज के 13 लाख पट्टों की जांच, 50 प्रतिशत पद खाली
पिछली अशोक गहलोत सरकार के समय बांटे गए 13 लाख पट्टों की जांच 1 माह बाद जुलाई से शुरू होगी। भाजपा सरकार गठन के समय पट्टों की जांच का ऐलान किया था। 19 माह में 50 प्रतिशत पद खाली होने के चलते जांच नहीं हुई। कुछ निकायों में भारी शिकायतें पाई जाने पर जांच कराई थी, उसमें 400 से अधिक फर्जी पट्टे पाए गए। अब सभी निकायों के पट्टों की जांच कराई जाएंगी। यूडीएच मंत्री झाबरसिंह खर्रा का कहना है कि निकायों के 50 प्रतिशत पद खाली हैं। आरपीएससी से विभाग को जल्द एक्जीक्यूटिव आफिसर और रेवेन्यू आफिसर मिलने वाले हैं। इसके साथ ही जांच तेज होंगी। गौरतलब है कि विधानसभा में फर्जी पट्टों की जांच के संबंध सरकार को विपक्ष द्वारा घेरने पर 21 मार्च 2025 को मंत्री में सदन में कहा था कि फरवरी तक 14 फर्जी पट्टे सामने आ चुके थे। गलत करने वालों पर कड़ी कार्रवाई होगी। पूर्व यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने चुनौती दी थी कि फर्जी पट्टों की जांच से इंकार किसने किया? फर्जी पट्टे जारी करने वालों को डालो जेल में। सरकार कुछ करती क्यों नहीं है। इस पर मंत्री खर्रा ने कहा था, अपराधी को छोड़ेंगे नहीं। नया आदेश: निरस्त पट्टे का कारण अंकित होगा नगरीय विकास विभाग नया फैसला लेने जा रहा है। इसमें प्रदेश के सभी प्राधिकरणों, यूआईटी और नगरीय निकायों को अधिकार दिया जा रहा है कि वे 3 साल या अधिक अवधि के अपंजीकृत पट्टे निरस्त करें। स्टेंप जिनका ड्यू है, उनको निरस्त कर नए पट्टे जारी करें। मंत्री खर्रा ने कहा कि यह आदेश गहलोत राज के फर्जी पट्टों की जांच की कड़ी से ही जुड़ा है। इसमें यह भी निर्देश हैं कि निरस्त पट्टे का नोट मय कारण अंकित करना होगा। हमें करीब 120 अफसर जुलाई में मिल जाएंगे "हम गहलोत राज के फर्जी पट्टों की जांच हर हाल में कराने जा रहे हैं। हमारे पास अभी 50 प्रतिशत पद खाली है। आरपीएससी पर काफी दबाव बनाया। अब हर हाल में जुलाई में हमें 120 से अधिक एक्जीक्यूटिव आफिसर और राजस्व अधिकारी मिल जाएंगे। इनके मिलते ही फर्जी पट्टों की जांच को युद्ध स्तर पर जुलाई में शुरू कर देंगे।" - झाबरसिंह खर्रा, स्वायत्त शासन एवं यूडीएच मंत्री