गोविंददेवजी में निर्जला उत्सव 7 को, पहली बार जलेब चौक से प्रवेश, ब्रह्मपुरी व जय निवास बाग से निकासी

ठिकाना श्री गोविंद देवजी के पहली बार निर्जला एकादशी पर बड़ा उत्सव आयोजित होने जा रहा है, जिसका मुख्य आयोजन 7 जून को होगा। प्रचंड गर्मी में दर्शनार्थियों की भीड़ को देखते हुए मंदिर प्रशासन ने दर्शन की व्यवस्थाओं में होली व दीपावली जैसा ही परिवर्तन किया है। मुख्य बदलाव यह है कि कोई भी श्रद्धालु 1 मिनट से ज्यादा मंदिर के भीतर खड़ा नहीं रह सकेगा। चलते फिरते ही दर्शन करने होंगे। मोबाइल से रील बनाने पर रोक रहेगी। खास बात यह है कि एकादशी पर अब से पहले तक लोग ठाकुरजी के चढ़ाने या मंदिर में दान के लिए खाली मटके लेकर आते थे और मंदिर के भीतर लगे नल, कुएं व टैंकरों से भरकर ही मंदिर में चढ़ाया जाता था, लेकिन भीड़ को देखते हुए मंदिर प्रबंधन ने यहां टैंकर लगाने की मनाही कर दी है यानी अब मटके चढ़ाने वालों को अपने घर से ही पानी भी भरकर लाना होगा। हालांकि जो भी मटके चढ़ाएं जाएंगे, उसे मंदिर प्रबंधन द्वारा जरुरतमंदों को बांट दिया जाएगा।